हेल्थ अलर्ट ! 40 के हो गए हैं तो सेहत पर खास ध्यान
स्वस्थ जीवनशैली के लिए खुद जागरूक होने की जरूरत, क्या कहते हैं एक्सपर्ट्स
विशेषज्ञों के हिसाब से मध्यम आयु यानी 40 साल की उम्र में हमें सेहत के कई लक्ष्यों पर काम करने की जरूरत होती है।
नए साल में बहुत से लोगों ने फिटनेस को लेकर नए लक्ष्य तय किए होंगे। लेकिन आप खुद पर सख्ती नहीं बरतेंगे तो इस बात की पूरी आशंका है कि माह के अंत तक प्रेरणा में कमी आ जाएगी।
विशेषज्ञों का मानना है कि हमें ऐसे लक्ष्य तय करने चाहिए, जो उद्देश्य पूरा करने में मदद दें। मध्यम आयु यानी 40 साल की उम्र में हमें सेहत के कई लक्ष्यों पर काम करने की जरूरत होती है। ऐसे में ये 6 उपाय मददगार हो सकते हैं…
बीज रखेंगे आपको सेहतमंद
बीज में पाचन के लिए जरूरी फाइबर, प्लांट प्रोटीन, मिनरल्स व फाइटोन्यूट्रिएंट्स मिलते हैं। सूरजमुखी के बीज में हडि्डयों के लिए फास्फोरस व मैगनीज होता है।
कद्दू के बीज में जिंक से प्रोस्टेट व यूरिनरी हेल्थ अच्छी रहती है। तिल्ली में मैग्नीशियम व विटामिन ई धमनियों के लिए अच्छा है। ब्रिटिश मेडिकल जर्नल के मुताबिक रोज दो बड़े चम्मच बीज खाने से मौत के जोखिम में 10% और कोरोनरी धमनी के रोगों में 11% कमी आती है।
दही से बीपी कंट्रोल
ऑस्ट्रेलिया यूनिवर्सिटी की एलेक्जेंड्रा वेड के मुताबिक दही में मौजूद जीवित बैक्टीरिया प्रोटीन रिलीज करने में मदद करते हैं। इससे बीपी घटाने में मदद मिलती है। रोज 150 से 200 ग्राम सादा दही खाना चाहिए।
स्लीप ट्रैकर की मदद न लें
उम्र के इस दौर में हार्मोनल बदलावों का असर नींद के पैटर्न पर पड़ता है। ऐसे में स्लीप ट्रैकर की मदद न लें। यह डिवाइस इस पर नजर रखती है कि हार्ट बीट में बदलावों के साथ नींद के चक्र में कितना समय बिताया गया।
ये ट्रैकर्स 38% ही सटीक बता पाते हैं कि आप गहरी नींद में गए। ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के स्लीप साइंटिस्ट डॉ. नील स्टेनली कहते हैं, नींद पर नजर रखने से चिंता बढ़ती है। इससे नींद में और कमी आती है। इन ट्रैकर्स के बिना आप बेहतर नींद पा सकते हैं।
देर रात खाना बंद करें
शाम को 6-7 बजे के बाद खाना न खाएं, देर रात खाने से ग्लूकोज टॉलरेंस गड़बड़ाता है, फैट बर्न कम हो जाता है। इससे ब्लड ग्लूकोज बढ़ता है जो डायबिटीज का अहम फैक्टर है। देर रात स्नैक्स भी न लें।
विटामिन डी सप्लीमेंट शुरू करें
इसकी कमी से हार्ट संबंधी रोगों का जोखिम सामान्य स्तर वालों की तुलना में दोगुना होता है। ऑस्ट्रेलियाई हेल्थ एक्सपर्ट एलिना हाइपोनन कहती हैं, ‘समय की कमी से आजकल धूप से विटामिन डी नहीं ले पाते, इसलिए सप्लीमेंट अच्छा विकल्प है।
सब्जियों-फलों की दिनभर में पांच सर्विंग लेने से बीमारियां रहेंगी दूर
अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन के मुताबिक दिनभर के खाने में 5 सर्विंग्स होनी चाहिए। इसमें 3 सर्विंग सब्जियों की और 2 फलों की होने से पोषक तत्व पर्याप्त मिलते हैं। इससे गंभीर बीमारियों का जोखिम घटता है।
इनमें हरी पत्तेदार पालक, सलाद पत्ते, बीटा कैरोटीन वाली सब्जियां और साइट्रस फल जरूरी हैं। दौड़ने का फायदा तो है ही, अगर रोजाना 2000 स्टेप्स करते हैं तो मौत का जोखिम 32% तक घट जाता है।