8th march International Women’s Day: इंटरनेशनल वुमेंस डे पर जानिए महिलाओं के लिए भारत सरकार की 5 महत्वाकांक्षी योजनाएं
8th march International Women’s Day: हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी 8 मार्च 2025 के दिन International Women’s Day मनाया जाने वाला है।
जैसा कि हम सब जानते हैं कि महिलाओं के बिना हमारा समाज अस्तित्व विहीन है और इसी क्रम में महिलाओं के सम्मान हेतु देश और दुनिया में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस मनाया जाता है ताकि महिलाओं को उनकी महत्त्वता और उनकी अहमियत का एहसास दिलाया जा सके।
बता दें भारत सरकार भी काफी लंबे समय से देश में महिलाओं की सामाजिक, आर्थिक और शैक्षिक स्थिति मजबूत करने के लिए विभिन्न प्रकार के प्रयास कर रही है।
सरकार द्वारा किए गए यह सारे प्रयास महिलाओं को आत्मनिर्भर और आत्म सबल बनाने के लिए किये जा रहे हैं ताकि महिलाओं को शिक्षा सुविधा ,स्वास्थ्य सुविधा तथा उनके मूलभूत अधिकारों की पहुंच उपलब्ध कराई जा सके।
केंद्र सरकार द्वारा शुरू की गई यह विभिन्न योजनाएं केवल महिलाओं की व्यक्तिगत स्थिति को ही नहीं सुधार रहीं बल्कि समाज में उन्हें एक नया दर्जा भी दिलवा रही हैं।
केंद्र सरकार द्वारा शुरू की गई यह सारी योजनाएं न केवल महिला सशक्तिकरण सुनिश्चित कर रही है बल्कि नवजात बालिकाओं के जन्म को भी एक त्यौहार बना रही हैं।
इन योजनाओं की वजह से देश में पिछले कुछ समय से बेटियों के जन्म को बोझ नहीं माना जा रहा और बेटियों से जुड़ी कई सारी कुरीतियां भी समाप्त करने में मदद मिली है।
आइए जानते हैं यह कौन-कौन सी योजनाएं हैं और किस प्रकार इनसे महिलाओं की स्थिति बेहतर हो रही है?
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान:
बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान महिला और बाल विकास मंत्रालय ,परिवार स्वास्थ्य कल्याण मंत्रालय और मानव विकास मंत्रालय द्वारा शुरू की गई एक महत्त्वकांक्षी योजना है।
इस योजना के माध्यम से देश में लड़के और लड़कियों के लिंगानुपात में सुधार किया जा रहा है। वही बालिकाओं को शिक्षा के लिए प्रोत्साहित भी किया जा रहा है।
इस योजना के अंतर्गत देश भर में ऐसी मुहिम चलाई जा रही है जिससे प्रेरित होकर अभिभावक अपनी बच्चियों को स्कूल में पढ़ने के लिए भेज रहे हैं। वहीं बालिकाओं की स्वास्थ्य सुरक्षा को भी इस योजना के अंतर्गत जोड़ दिया गया है।
प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना
प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना एक ऐसी उज्ज्वल पहल है जिसके माध्यम से देश भर की गरीब और आर्थिक रूप से वंचित वर्ग की महिलाओं को निशुल्क गैस कनेक्शन प्रदान किया जा रहा है।
इस योजना के अंतर्गत महिलाओं को निशुल्क गैस कनेक्शन के साथ-साथ सब्सिडाइज दरों में 1 साल में 12 सिलेंडर भी प्रदान किया जा रहे हैं जिससे पिछले कुछ समय से महिलाओं के स्वास्थ्य में सुधार हुआ है और महिलाएं अब हानिकारक ईंधन पर खाना बनाने से मुक्त हो चुकी है।
इस योजना के माध्यम से जहां एक ओर पर्यावरण सुरक्षा का ध्यान दिया जा रहा है वहीं महिलाओं को धुआं रहित किचन अभियान से जोड़ा जा रहा है जिससे एक ओर महिलाओं का समय भी बच रहा है वहीं महिलाओं के स्वास्थ्य में सुधार भी हो रहा है।
सुकन्या समृद्धि योजना
सुकन्या समृद्धि योजना एक ऐसी छोटी बचत योजना है जिसे देश के वित्त मंत्रालय द्वारा शुरू किया गया है।
इस योजना के अंतर्गत अभिभावक अपनी बचत के अनुसार बालिका का खाता डाकघर या बैंक में खोल सकते हैं जिसके अंतर्गत अभिभावक न्यूनतम 250 रुपए की छोटी राशि और अधिकतम 1.50 लाख रुपये सालाना की बचत कर सकते हैं।
जहां हर महीने सरकार 8.2% तक का उच्चतम ब्याज दर प्रदान कर रही है ताकि बच्चियों के नाम पर की गई यह सेविंग उनकी पढ़ाई और उनकी शादी में मदद कर सके।
इस योजना के माध्यम से देश में पिछले कुछ समय से बेटियों के जन्म को उत्सव की तरह मनाया जा रहा है।
बालिकाओं की वित्तीय सुरक्षा होने की वजह से अभिभावक भी अब चिंता मुक्त हो चुके हैं और बच्चियों के शिक्षा स्तर में भी सुधार देखा जा रहा है। वहीं खाता मैच्योरिटी की शर्तो की वजह से बालविवाह जैसी कुरीतियों पर भी रोक लग पाई है।
मातृत्व वंदना योजना
केंद्र सरकार और महिला बाल विकास मंत्रालय द्वारा शुरू की गई इस योजना के अंतर्गत सरकार आंगनबाड़ी के साथ मिलकर गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं के पोषण और स्वास्थ्य का ध्यान रखने हेतु विभिन्न योजनाओं का संचालन कर रही है।
इस योजना के माध्यम से सरकार गर्भवती महिलाओं और नई प्रसूता माताओं को निशुल्क पोषण युक्त भोजन, निशुल्क चिकित्सा परामर्श, नवजात बच्चो के लिए जरूरी सामान, पोस्टपार्टम और प्रीनाताल परामर्श जैसी विभिन्न सेवाओं का लाभ उपलब्ध करा रही है जिसकी वजह से प्रसूता माताओं और नवजात शिशुओं के मृत्यु दर में कमी देखी जा रही है।
वन स्टॉप सेंटर योजना
वन स्टॉप सेंटर योजना महिला और बाल विकास मंत्रालय और केंद्र सरकार द्वारा शुरू किया गया एक साझा प्रयत्न है।
इस योजना का उद्देश्य एक ऐसा सेंटर बनाना है जहां हिंसा की शिकार महिलाओं को चिकित्सा संबंधित सुविधाएं, कानूनी सहायता, कानूनी परामर्श, आश्रय और करियर बनाने संबंधित संपूर्ण सेवाएं प्रदान की जा सके।
इस योजना के अंतर्गत घरेलू हिंसा, यौन उत्पीड़न, दहेज प्रथा इत्यादि अत्याचार के खिलाफ महिलाओं को सशक्त किया जा रहा है ताकि महिलाएं इस केंद्र के माध्यम से तत्काल सहायता प्राप्त कर सके और अपने अधिकारों के प्रति जागरूक होकर अपनी लड़ाई खुद लड़ सकें।
कुल मिलाकर भारत की महिलाओं का हर दिन International Women’s Day जैसा ही महत्त्वपूर्ण हो सके इसी बात का ध्यान रखते हुए भारत सरकार हर दिन महिलाओं को समर्पित कर विभिन्न योजनाओं का संचालन कर रही है।
इन योजनाओं के माध्यम से सरकार समाज में महिलाओं को समान अधिकार दिलाने की कोशिश कर रही है ताकि महिलाओं का जीवन आसान और बेहतर हो सके।