Electric Vehicles In Himachal: हिमाचल प्रदेश में ई-वाहनों को बढ़ावा देने के लिए बड़ी शुरुवात! क्या है सुक्खू सरकार की योजना देखें पूरी रिपोर्ट
ई-चार्जिंग स्टेशनों का शुभारंभ: हिमाचल प्रदेश सरकार ने ई-परिवहन को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है।
Electric Vehicles In Himachal: हिमाचल प्रदेश में ई-वाहनों को बढ़ावा देने के लिए बड़ी शुरुवात! क्या है सुक्खू सरकार की योजना देखें पूरी रिपोर्ट
राज्य में जल्दी ही 17 नए ई-चार्जिंग स्टेशन शुरू किए जाएंगे, जिससे ई-वाहनों के लिए चार्जिंग की सुविधा आसानी से उपलब्ध होगी।
इनमें से 6 स्टेशनों पर चार्जिंग मशीनें पहले ही लगाई जा चुकी हैं, और बाकी स्टेशनों पर काम जारी है।
क्या है सरकारी पहल और योजनाएं: परिवहन विभाग ने मुख्यमंत्री को एक विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत की, जिसमें इन चार्जिंग स्टेशनों के बारे में बताया गया है।
ये चार्जिंग स्टेशन मुख्यत: नेशनल हाइवे और अन्य महत्वपूर्ण सड़क मार्गों पर बनाए जा रहे हैं, जिससे यात्रा के दौरान ई-वाहनों को चार्ज करना आसान हो सके।
राज्य सरकार की योजना के अनुसार, कुल 107 ई-चार्जिंग स्टेशन बनाए जाएंगे। इनमें से 53 स्टेशन पेट्रोल पंपों पर और बाकी 54 स्टेशनों का निर्माण राज्य परिवहन विभाग द्वारा किया जाएगा।
पर्यावरण संरक्षण और ई-वाहनों का महत्व: सीएम सुखविंद्र सिंह ने पर्यावरण संरक्षण को देखते हुए ई-वाहनों के प्रचार-प्रसार पर जोर दिया है। इसके अलावा, सरकारी विभागों में ई-टैक्सियां भी संबद्ध की जाएंगी।
यह कदम बेरोजगार युवाओं को स्वरोजगार के अवसर प्रदान करने के लिए उठाया जा रहा है। ये युवा ई-टैक्सियां किराए पर लेकर सरकारी विभागों में सेवाएं प्रदान कर सकेंगे।
इलेक्ट्रिक वाहनों का बढ़ता चलन: हिमाचल प्रदेश में इलेक्ट्रिक वाहनों की संख्या में तेजी से वृद्धि हो रही है। परिवहन विभाग के अनुसार, राज्य में पंजीकृत इलेक्ट्रिक वाहनों की संख्या 2502 है, जिसमें मोटर साइकिलें, स्कूटर, मोटर कारें, बसें और अन्य वाहन शामिल हैं।
चार्जिंग स्टेशनों के स्थानों का विवरण: चार्जिंग स्टेशनों का निर्माण विभिन्न स्थानों पर किया जा रहा है, जैसे कि लाहुल स्पीति, कुल्लू, मंडी, शिमला, कांगड़ा, सोलन, ऊना, बिलासपुर आदि। इन स्टेशनों का निर्माण विशेष रूप से नेशनल हाइवेज और महत्वपूर्ण मार्गों पर किया जा रहा है, जिससे यात्रियों को अधिक सुविधा मिले।
हरित राज्य की दिशा में अहम कदम: ये पहल हिमाचल प्रदेश को हरित राज्य बनाने की दिशा में एक अहम कदम मानी जा रही है। ई-वाहनों के प्रचलन से न केवल पर्यावरण की सुरक्षा होगी, बल्कि यह राज्य में आर्थिक और सामाजिक विकास को भी बढ़ावा देगा।