HP News Alert: पंचायतों की गड़बड़ियां क्यों नहीं आ रही सामने? विधानसभा लेखा समिति ने किया बड़ा खुलासा
HP News Alert: हिमाचल की पंचायतों में निरीक्षण की कमी उजागर, गड़बड़ियां समय पर नहीं आ रहीं सामने
HP News Alert: विधानसभा की स्थानीय निधि लेखा समिति की कड़ी टिप्पणी, पंचायत निरीक्षकों को अन्य कामों में उलझाया जा रहा
हिमाचल प्रदेश की पंचायतों में समय पर निरीक्षण न होने के कारण पंचायत स्तर पर गड़बड़ियां सामने नहीं आ रही हैं। विधानसभा की स्थानीय निधि लेखा समिति ने इस पर कड़ी टिप्पणी की है।
HP News Alert: पंचायतों गड़बड़ियां क्यों नहीं आ रही सामने? विधानसभा लेखा समिति ने किया बड़ा खुलासा
समिति का कहना है कि पंचायत निरीक्षकों और उप निरीक्षकों को उनके मूल कार्य के बजाय अन्य कार्यों में उलझा दिया गया है, जिससे पंचायतों का निरीक्षण प्रभावित हो रहा है।
पंचायत निरीक्षकों के लक्ष्य पूरे नहीं हो रहे
समिति की रिपोर्ट में यह भी सामने आया है कि पंचायत निरीक्षकों को दिए गए मासिक और वार्षिक निरीक्षण लक्ष्य पूरे नहीं हो पा रहे हैं। सचिव पंचायतीराज विभाग ने सभी उपायुक्तों और अतिरिक्त उपायुक्तों को निर्देशित किया है कि पंचायत निरीक्षकों को अपने निरीक्षण लक्ष्य सौ फीसदी पूरे करने के निर्देश दिए जाएं।
जिला पंचायत अधिकारियों को दिए गए निर्देश
स्थानीय निधि लेखा समिति ने जिला पंचायत अधिकारियों को निर्देशित किया है कि वे पंचायत निरीक्षकों और उप निरीक्षकों की निरीक्षण लक्ष्य सूची तैयार करें। इसके साथ ही, उन्हें निर्देशित किया गया है कि पंचायत निरीक्षकों के साथ नियमित बैठकें करें और जो निरीक्षण लक्ष्य पूरा न करें, उनके खिलाफ कार्रवाई की जाए।
मासिक समीक्षा बैठकों में होगी समीक्षा
समिति ने कहा है कि जिला स्तरीय मासिक समीक्षा बैठकों में खंड विकास अधिकारियों द्वारा दिए गए लक्ष्यों की समीक्षा की जाए। सभी निरीक्षण अधिकारी लिखित निरीक्षण रिपोर्ट तैयार करें और इसे खंड विकास अधिकारी को भेजें।
यदि रिपोर्ट में कोई खामी पाई जाती है, तो दोषियों के खिलाफ पंचायतीराज एक्ट के तहत कार्रवाई की जाए। अगर खंड विकास अधिकारी कार्रवाई नहीं करते, तो उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई की जाएगी।
निरीक्षण की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के निर्देश
पंचायतीराज विभाग के सचिव राजेश शर्मा ने कहा कि समिति के निर्देशों के अनुसार पंचायतों में निरीक्षण की प्रक्रिया तेज की जा रही है ताकि नियमों के अनुसार कार्यों की गुणवत्ता सुनिश्चित हो सके और अनियमितताओं को रोका जा सके।
ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज विभाग के निदेशक राघव शर्मा ने कहा कि पंचायत निरीक्षकों को पहले से ही मासिक और वार्षिक लक्ष्य दिए गए हैं और प्रत्येक पंचायत का महीने में एक बार निरीक्षण अवश्य किया जाए, यह सुनिश्चित किया जा रहा है।