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AI: लाखों लोगों की नौकरियों पर मंडराया संकट! इस साल और तेज होगा एआई, गॉडफादर की भविष्यवाणी ने डराए लोग

AI: लाखों लोगों की नौकरियों पर मंडराया संकट! इस साल और तेज होगा एआई, गॉडफादर की भविष्यवाणी ने डराए लोग

AI: लाखों लोगों की नौकरियों पर मंडराया संकट! इस साल और तेज होगा एआई, गॉडफादर की भविष्यवाणी ने डराए लोग

AI: लाखों लोगों की नौकरियों पर मंडराया संकट! इस साल और तेज होगा एआई, गॉडफादर की भविष्यवाणी ने डराए लोग

AI: नया साल शुरू होने के साथ ही आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (एआई) के कारण नौकरियों के जाने का डर और भी ज्यादा बढ़ गया है। AI के बढ़ते चलन के कारण भारत में लाखों लोगों को नौकरी खोने का डर सता रहा है। पूरे भारत में कुछ कर्मचारियों का मानना है कि उनका संस्थान अभी एआई को लागू करने के पायलट स्टेज पर हैं।

Shri Ram

AI: लाखों लोगों की नौकरियों पर मंडराया संकट! इस साल और तेज होगा एआई, गॉडफादर की भविष्यवाणी ने डराए लोग

कुछ कर्मचारियों को लगता है कि एआई तीन से पांच वर्षों में उनकी जगह ले सकता है और कुछ एआई की वजह से नौकरी जाने को लेकर चिंतित कर्मचारी मौजूदा कंपनी को छोड़ने की योजना बना रहे हैं। ऐसे में भविष्य में नौकरी को खो देने का डर लोगों के जहन में बैठ गया है। इसी बीच एआई के गॉडफादर माने जाने वाले जेफ्री हिंटन का भीबड़ा बयान सामने आया है जिसने कर्मचारियों की धड़कन बढ़ा दी है।

उन्होंने कहा एआई इतनी तेजी से आगे बढ़ रही है कि 2026 में बहुत नौकरियों पर खतरा आ गया है। उन्होंने कहा कि एआई में इंप्रूवमेंट की स्पीड खासकर रीजनिंग और टास्क पूरा करने के मामले में उनकी भी उम्मीद से ज्यादा है। 2025 में एक बड़ा टर्निंग प्वाइंट आया और इस साल में एआई सिस्टम और ज्यादा कैपेबल होंगे। हिंटन की बातों से यही लगता है कि 2026 में एआई से सबसे अधिक खतरा कामगर वर्ग को ही है।

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तेजी से आगे बढ़ रहा एआई
हिंटन के अनुसार एआई हर सात महीने में दोगुनी तेजी से काम करने लगता है। उदाहरण के लिए, पहले जो कोडिंग का काम एक घंटे में होता था, अब एआई उसे मिनटों में कर देता है। कुछ सालों में जो सॉफ्टवेयर बनाने का काम एक महीने लगता है, वह भी एआई कर लेगा। इससे सॉफ्टवेयर इंजीनियरिंग की नौकरियां बहुत कम हो जाएंगी।

इन नौकरियों पर भी खतरा
हिंटन ने एआई के मौजूदा दौर की तुलना औद्योगिक क्रांति से करते हुए कहा कि तब फिजिकल लेबर की इंपोर्टेंस कम हुई थी और अब ऐसा इंटेलेक्चुअल वर्क के साथ हो रहा है। इससे व्हाइट-कॉलर नौकरियों पर भी अब तक का सबसे बड़ा खतरा पैदा हो गया है।

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हिंटन के अलावा कई और एक्सपर्ट भी ऐसे खतरे को लेकर चेतावनी दे चुके हैं। उनका कहना है कि 2026 में जॉबलेस बूम (jobless boom) देखने को मिल सकता है। यानी हर क्षेत्र में Productivity बढे़गी, लेकिन रोजगार के मौके पैदा नहीं होंगे।

एआई के फायदे भी
एआई सिर्फ खतरा नहीं है, इसके बहुत फायदे भी हैं। हिंटन मानते हैं कि यह मेडिकल, एजुकेशन और क्लाइमेट चेंज जैसे क्षेत्रों में बड़ी मदद करेगा। नए आविष्कार होंगे और समस्याएं हल होंगी। लेकिन वे कहते हैं कि फायदों के साथ डरावनी बातें भी आ रही हैं।

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Written by News Ghat

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