

Home Loan: RBI के 25 bps कट से घर खरीदना हुआ अब पहले से ज्यादा किफायती! घटेगी EMI
Home Loan: हर इंसान अपने जीवन में घर खरीदने का सपना देखता है। परंतु महंगाई, ऊंची ब्याज दर और सीमित कमाई की वजह से कई लोग इस सपने को पूरा करने के बारे में विचार ही नहीं करते। परंतु हाल ही में RBI ने रेपो रेट को 0.25% तक कम करने का ऐलान कर दिया है।

Home Loan: RBI के 25 bps कट से घर खरीदना हुआ अब पहले से ज्यादा किफायती! घटेगी EMI
जी हां, इस रेट कट की घोषणा की वजह से अब लोन दरें सस्ती हो जाएंगी। अर्थात यह घोषणा पहली बार घर खरीदने वालों के लिए एक सुनहरा अवसर साबित हो सकती है। RBI जब कभी अपने BPS पॉइंट्स को घटाती है तब ब्याज दरें कम हो जाती हैं।
ब्याज दर कम होने पर EMI कम होता है, लोन की लागत घटती है और लोन एलिजिबिलिटी बेहतर हो जाती है। RBI ने कुछ समय पहले ही लोन को लेकर कई प्रकार की नीतियों को बदलने का निर्णय लिया है। अब EMI भी सस्ती हो जाएगी। ऐसे में वे सभी लोग जो लंबे समय से घर खरीदने का फैसला टाल रहे थे उनके लिए घर खरीदने का एकदम सही समय आ गया है।

RBI रेपो रेट कट से EMI में क्या अंतर होगा ?
RBI द्वारा रेपो रेट कम हो जाने की वजह से ब्याज दरें कम हो जाएगी। इस ब्याज दर में आने वाले समय में 0.25% कमी देखने को मिलेगी। मतलब पहले यदि ब्याज 8.25% था तो अब वह 8.5% हो जाएगा। अर्थाय 30 लाख के होम लोन लेने पर 750 रुपए तक की मासिक EMI कम हो सकती है। मतलब लोन की पूरी अवधि में एक व्यक्ति ₹2,00,000-3,00,000 तक अपनी बचत कर सकता है।
पहली बार घर खरीदने वालों के लिए यह योजना क्यों खास होगी?


● क्योंकि पहली बार घर खरीदने वाले आमतौर पर प्रारंभिक पूंजी के साथ घर खरीदते हैं।
● EMI अफॉर्डेबिलिटी उनके लिए एक बहुत बड़ा फैक्टर होती है।
● वही EMI में यदि थोड़ी सी भी छूट मिल गई तो एक लोन अवधि में वे लोग 2 से 3 लख रुपए बचा लेते हैं जिससे उनका बजट बेहतर हो जाता है।

RBI के रेपो रेट कट से रियल एस्टेट बाजार में क्या बदलाव होगा ?
RBI के इस BPS रेट कट से रियल एस्टेट बाजार में भी कई नए प्रोजेक्ट आने की संभावना दिखाई दे रही है। एक ओर जहां बैंक लोन सस्ता करेगा, वही यह निर्णय डेवलपर को नए प्रोजेक्ट लॉन्च करने में मदद करेगा। BPS कटौती की वजह से अब रियल एस्टेट डेवलपर को भी सस्ता लोन मिलेगा जिससे बड़े प्रोजेक्ट आसानी से जल्द से जल्द पूरे होंगे, लोन की डिमांड बढ़ेगी और रेडी टू मूव और अंडर कंस्ट्रक्शन दोनों सेगमेंट में घर आसान और सस्ते मिलेंगे।
EMI कम होने से लोन एलिजिबिलिटी कैसे बढ़ेगी?
RBI द्वारा रेपो रेट कट होने की वजह से लोन एलिजिबिलिटी भी बढ़ जाती है। मतलब पहले जहां आपको केवल 25 लाख का लोन मिल सकता था अब लोन एलिजिबिलिटी 30 लाख तक हो जाएगी। मतलब अब घर खरीदने वाले बेहतर लोकेशन या बेहतर सुविधा के साथ घर खरीद सकेंगे।
उदाहरण के लिए एक ₹40000 प्रतिमाह आय वाले व्यक्ति के लिए बैंक पहले 20,000 से 22,000 EMI का ही लोन देता था। परंतु ब्याज दर घटने पर अब यह क्षमता 23,000 से 24,000 हो जाएगी जिससे लोन राशि में वृद्धि होगी और लोन लेने वाले को बड़ा घर लेने का मौका मिलेगा।
निष्कर्ष
कुल मिलाकर RBI की इस रेपो रेट में कटौती नीति ने हजारों परिवारों के लिए घर खरीदने का रास्ता और आसान कर दिया है। EMI की दर में कमी और लोन एलिजिबिलिटी में बढ़ोतरी जहां एक ओर होम लोन लेने वालों को फायदा देगी वही यह निर्णय रियल एस्टेट में भी सुधार लाएगा। मतलब 2025-26 में पहली बार घर खरीदने वालों के लिए गोल्डन पीरियड साबित होने वाला है।

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