पानी की किल्लत से गुस्साई महिलाओं ने जल शक्ति विभाग के JE को पहले गले से पकड़ कर खींचा और फिर…
हिमाचल प्रदेश में पानी की समस्या को लेकर ग्रामीण महिलाओं ने जल शक्ति विभाग के जेई का गला पकड़ लिया और बदसलूकी की। मामले में अब विभाग की शिकायत पर पुलिस ने केस दर्ज कर लिया है। मामला प्रदेश के कांगड़ा जिले के नुरपूर इलाके का है।
जानकारी के अनुसार, नुरपूर के पुंदर में पेयजल की नियमित सप्लाई न होने से महिलाओं का गुस्सा फूट पड़ा। इस दौरान महिलाओं ने जल शक्ति विभाग में कार्यरत जेई के साथ अभद्र व्यवहार और हाथापाई की।
पंचायत पुंदर के गांव मलकोट के ग्रामीणों का रोष है कि जल शक्ति विभाग की ओर से पानी की सप्लाई नहीं दी जा रही है। मलकोट वासियों ने रोष प्रकट करते हुए कहा कि हमें पीने के लिए भी पानी नहीं मिल पाता है। ऐसे में नहाने, कपड़े धोने व पशुओं को पिलाने के लिए पानी कहां से लाएंगे?
मलकोट वासियों ने कहा कि जल जीवन मिशन के तहत करोड़ों रुपये सरकार खर्च कर रही है, लेकिन नल किसके घर लगाए जा रहे हैं, इसका कोई पता नहीं है। उन्होंने कहा कि हर घर में नल तो है, लेकिन जल नहीं है। गांववासियों ने कहा कि विभाग को इस समस्या के बारे में कई बार अवगत करवाया गया लेकिन विभाग अपनी कुंभकर्णी नींद से नहीं जागा।
बता दें कि रविवार को गांववासियों ने गांव से जाने वाले मार्ग पर चक्का जाम कर दिया, जिस पर विभाग ने जनता को आश्वासन दिया कि विभागीय अधिकारी स्वयं सोमवार को मौका पर आकर स्थिति को देखेंगे।
सोमवार को विभागीय सहायक अभियंता और जेई मौके पर गए तो जनता ने उनको खूब खरी-खोटी सुनाई। गुस्साई महिलाओं ने जेई को गले से पकड़ लिया। बाद में कुछ लोगों ने बीच-बचाव करवाते हुए मामले को शांत करवाया।
क्या बोला जल शक्ति विभाग
विभागीय सहायक अभियंता देवेंद्र राणा का कहना है कि मलकोट के गांव में मोटर में तकनीकी खराबी आने के कारण कम पानी सप्लाई मिली थी। मैं स्वयं जेई को लेकर मौके पर पहुंचा तो मलकोट के लोगों ने बदतमीजी की। उन्होंने कहा कि पानी की समस्या का हल कर दिया गया है। फिलहाल, मामले में केस दर्ज किया गया है।
विधायक के दावे हवा-हवाई
नूरपुर के विधायक एवं वन मंत्री राकेश पठानिया नूरपुर की जनता को दिन में दो समय पानी की सप्लाई देने का दावा कर रहे हैं, लेकिन इस घटना से मंत्री के दावों की हवा निकल गई है। जनता ने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर, जल शक्ति मंत्री महेंद्र ठाकुर से मांग की है कि विभाग द्वारा पर्याप्त पानी की सप्लाई दी जाए।